Ram nam ka bahut hi pyara bhajan
मेरे मन में हैं राम , मेरे तन में हैं राम।
मेरे नैनो की नगरिया में राम हैं॥
मेरे रोम रोम के हैं राम ही रमिया।
साँसों के स्वामी, मेरी नैया के खिवैया।।
कण कण में हैं राम, त्रिभुवन में हैं राम।
नीले नभ की अटरिया में राम हैं॥
जनम जनम का जिन से हैं नाता।
मन जिन के पल छीन गुण गाता।।
गुण धुन में हैं राम, रन झुन में हैं राम,
सारे जग की डगरिया में राम हैं॥
जहाँ कहीं देखूं वहीं राम की हैं माया।
, सब ही के साथ श्री राम जी की छाया।।
सुमिरन में हैं राम, दर्शन में हैं राम।
मेरे मन की मुरलियाँ में राम हैं॥
mere man mein raam raam raam raam raam raam mera.
meree rainking kee nagariya.
mere rom rom ke.
saanson ke svaamee svaamee mere.
kaint mein raam raam raam raam raam raam kaint mein.
neela nabh kee atariya.
janam janam ka jin.
man jo hai.
gun dhun mein raam raam raam raam raam raam raam raam raam raam raam.
sabhee jag kee dagariya.
jahaan kaheen bhee dikh raha hai.
sab hee ke ,,.
sumiran mein hain raam raam raam.
mere man kee muraliyaan.